कभी यूँ भी अफसाने बन गए
हम उनके दीवाने बन गए
आंसू तो था एक ही टपका
पर हजारो मैखाने बन गए
हँसतीहुई सूरत में हम
सैकड़ो गम छुपाए हुए
दर दर भटकते रहे
और दीवाने बन गए
उनसे हुजुर तब भी आया न गया
जब मेरी मौत की खबर पहुचीं
राह देखते उनकी जब जल गए हम
मिला न सुकून और अंगारे बन गए
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